प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज वीडियो कांफ्रेंस के जरिए मध्य प्रदेश के रेहडी पटरी वालों के साथ स्वनिधि संवाद किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने रेहडी पटरी वालों की वापसी का स्वागत किया। उन्होंने उनके आत्मविश्वास, दृढता और कड़ी मेहनत की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि कोई भी आपदा सबसे पहले गरीबों के काम, भोजन और बचत को प्रभावित करती है। प्रधानमंत्री उस कठिन समय की चर्चा की जब अधिकांश गरीब प्रवासियों को अपने गांवों में लौटना पडा था।
श्री मोदी ने कहा कि सरकार ने पहले ही दिन से ही गरीबों और निम्न मध्यम वर्ग के सामने लॉकडाउन के कारण आने वाली कठिनाइयों के समाधान और महामारी के प्रभाव को कम करने की कोशिश की। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण रोजगार अभियान के तहत गरीबों को भोजन, राशन और निशुल्क गैस सिलेण्डर उपलब्ध कराने के सभी प्रयास किए। उन्होंने कहा कि पिछले छह वर्षों में इस सरकार ने गरीबों के लिए अभूतपूर्व कार्य किए हैं।
स्वनिधि योजना के लाभ के बारे में श्री मोदी ने कहा कि इस योजना के जरिए रेहडी पटरी वालों के लिए ऑनलाइन डिलीवरी की सुविधा देने पर विचार किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बैंकों और डिजिटल भुगतान की सुविधा उपलब्ध कराने वाले पक्षों के साथ सहयोग से नई शुरूआत हुई है जिससे रेहडी पटरी वाले डिजिटल लेनदेन से अछूते न रहें।
श्री मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के लाभार्थियों को प्राथमिकता के आधार पर उज्ज्वला गैस और आयुष्मान भारत योजनाओं का लाभ मिलेगा। उन्होंने कहा कि स्वनिधि योजना का उद्देश्य रेहडी पटरी वालों को स्वरोजगार, स्वावलम्बन और स्वाभिमान (स्वरोजगार, आत्मनिर्भरता और आत्मविश्वास) प्रदान करना है।
इस योजना में ब्याज पर सात प्रतिशत तक की छूट मिलेगी और यदि कोई व्यक्ति एक वर्ष के भीतर अपना कर्ज चुकाता है, तो उसे ब्याज में छूट मिलेगी। डिजिटल लेनदेन में कैश बैक की सुविधा का लाभ मिलेगा। इससे बचत कुल ब्याज से अधिक होगी।
प्रधानमंत्री ने मध्यप्रदेश सरकार की प्रशंसा करते हुए कहा कि राज्य सरकार ने महामारी के बावजूद साढे चार लाख से अधिक रेहडी पटरी वालों की पहचान की है और दो महीने के भीतर एक लाख से अधिक रेहडी पटरी वालों को ऋण देने की प्रक्रिया शुरू की है।
इस योजना के तहत ऋण सुविधा के लिए बैंकों के पोर्टल के जरिए देशभर से दो लाख 45 हजार पात्र लाभार्थियों के आवेदन प्राप्त हुए हैं। इनमें से करीब एक लाख चालीस हजार रेहडी पटरी वालों को एक करोड चालीस लाख रुपए की राशि की स्वीकृति मिल चुकी है।
Source: News On Air